आज़मगढ़।
रिपोर्ट: वीर सिंह
आजमगढ़ 21 दिसम्बर-- जिलाधिकारी राजेश कुमार की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना वर्ष 2021-22 की जिला स्तरीय समिति की तृतीय बैठक का आयोजन किया गया।
जिलाधिकारी ने कहा कि प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना के अन्तर्गत निजी भूमि पर तालाब निर्माण के लिए अधिक से अधिक पात्र व्यक्तियों को ऋण की सुविधा प्रदान की जाय। उन्होने कहा कि जितने आवेदन निरस्त किये गये हैं, उनकी पुनः जांच करायी जाये। उन्होने कहा कि एनओसी देने वाले संबंधित विभागों के अधिकारियों की बैठक बुलाकर तत्काल एनओसी देने के प्रकरण का निस्तारण कराना सुनिश्चित करें।
उन्होने बताया कि प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना में 60 प्रतिशत केन्द्रांश की धनराशित, 40 प्रतिशत राज्यांश की धनराशि होगी। लाभार्थीपरक योजनाओं में सामान्य वर्ग के लाभार्थियों को कुल इकाई लागत का 40 प्रतिशत अनुदान तथा अनुसूचित जाति, जन जाति व महिला लाभार्थियों को कुल इकाई लागत का 60 प्रतिशत अनुदान उपलब्ध कराया जायेगा, शेष लाभार्थी अंश होगा। उन्होने कहा कि योजनान्तर्गत आवेदक को किसी भी प्रोजेक्ट को स्थापित करने हेतु निजी भूमि अथवा लीज की भूमि रजिस्टर्ड कम से कम 10 वर्ष विवाद रहित होनी चाहिए एवं आवेदक लाभार्थी अंश की धनराशि व्यय करने में सक्षम होना चाहिए।
जिलाधिकारी ने बताया कि वर्ष 2020-21 के सापेक्ष प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना के विभिन्न उप योजनाओं के कुल 11 मद में 76 लाभार्थी के रू0 648.520 लाख की परियोजना प्रस्तावित की गई थी, जिसमें रू0 316.168 लाख अनुदान के सापेक्ष क्रियान्वयन वर्ष 2020-21 में रू0 13.36 लाख व 2021-22 में रू0 77.408 लाख बजट आवंटन प्राप्त प्राप्त हुआ है।
इस अवसर पर जिला स्तरीय समिति द्वारा सर्व सम्मति से प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना से संबंधित पूरक प्रस्ताव कार्य योजना वर्ष 2021-22 को अनुमोदित किया गया।
बैठक में जिला कृषि अधिकारी, मुख्य कार्यकारी अधिकारी मत्स्य पालक विकास अभिकरण, परियोजना निदेशक, उपायुक्त मनरेगा सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।