आज़मगढ़।
रिपोर्ट: वीर सिंह
खिरिया बाग का धरना 152वां दिन किया पूरा
आजमगढ़: जमीन-मकान बचाओ संयुक्त मोर्चा के तत्वाधान में खिरिया बाग में 152 वें दिन धरना जारी रहा । धरने में एयरपोर्ट का विस्तार बहाना है-जमीन लूट निशाना है,एयरपोर्ट विस्तारिकरण का मास्टर प्लान वापसी का लिखित शासनादेश सार्वजनिक करो,अडानी-अंबानी से यारी,मजदूर-किसानों से गद्दारी नहीं चलेगी,कौन बनाता हिंदुस्तान-भारत का मजदूर किसान,जमीन हमारी आपकी-नहीं किसी के बाप की,यह जंग जीतेंगे अबकी बार-ये ऐलान हमारा है आदि नारें गूंजते रहे।धरने को किसान नेताओं और महिलाओं व सांस्कृतिक कर्मियों ने अपने सम्बोधन को गीतों व भाषण के माध्यम से प्रस्तुत किया।
152 वें दिन धरने को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने कहा कि चुनाव जीतने से पहले मोदी सरकार ने जनता को लुभाने के लिए ढेरों वादे किते थे,जो आज झूठे साबित हो चुके हैं।देश के तथाकथित राजनेताओं के झूठे वादों से जनता अजिज हो चुकी है।ऐसे में शासन-प्रशासन के मौखिक आश्वासन को भी एक सफेद झूठ माना जाना चाहिए।खिरिया बाग के धरनारत जनता से सरकार द्वारा आजमगढ़ एयरपोर्ट विस्तारीकरण का लिखित शासनादेश देने में हो रही देरी घात-प्रतिघात की ओर इशारा करती है । सरकार ऐसे ही देरी करती है तो संयुक्त मोर्चा पूरे देश में इस जमीन,खेती लूट के खिलाफ आंदोलन तेज करेगा। खिरिया बाग स्थानीय जन भागीदारी बढ़ाकर सामूहिक रुप से चलने वाले धरने को चलाने की कोशिश जारी है। कहा गया कि देश में बुनियादी समस्या जैसे- रोटी ,कपड़ा ,मकान, शिक्षा , चिकित्सा के साथ-साथ जमीन-मकान के अधिग्रहण के सवाल से भटकाने की राजनीति को किसान-मजदूर भी समझने लगा है। मेहनतकश वर्ग यह भी समझता है कि जाति-धर्म के गड़े मुर्दे को उखाड़कर देश में कैसे गंदी राजनीति का जहर फैलाया जा रहा है और जनता को भटकाया जा रहा है। अपने संवैधानिक, लोकतांत्रिक मूल्यों से जब आज का किसान,मजदूर लैश होने लगता है तो कुछ तथाकथित राजनेताओं को इसमें राजनीति दिखाई देने लगती है।
खिरिया बाग आंदोलन मिशन 2024 के तहत केंद्र में बैठी सरकार की नींद हराम कर देगी।
खिरिया बाग की लड़ाई जाति,धर्म से ऊपर उठकर जनता के बीच सामूहिक भावना के साथ जमीन बचाने की भावना ही नहीं देश बचाने की भावना को बढ़ाया है । खिरिया बाग की लड़ाई देश बचाने की लड़ाई बन चुकी है। आजमगढ़ एयरपोर्ट के विस्तारीकरण का मास्टर प्लान वापस होने का लिखित शासनादेश मिलने से पहले यह रुकने वाला नहीं।
धरने को रामकुमार यादव,तुफानी पासवान,सुनील पंडित,रामशब्द निषाद,नरोतम यादव,सुनीता भारती,मुरारी,अशोक यादव,नीलम,अजित,नागेंद्र ,फूलमती, आदि ने संबोधित किया। अध्यक्षता नकछेद राय संचालन शैलेश कुमार राय ने किया।